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लेख : भगोरिया पर्व

“जंगलों में जब टेशु खिलता है। महुआ गदराता है। ताड़ी शबाब पर आती हैं। हवाओं में हल्की-हल्की रोमांच भरने वाली ऊष्मा भरने लगती है, तब फाल्गुन आता है और तब भगोरिया आता है।” भगोरिया पर्व लोक संस्कृति के पारंपरिक लोकगीतों… Read More

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लेख : दोस्ती

जिंदगी में दोस्ती बहुत जरुरी है। सच्ची दोस्ती जिन्दगी को बना देती है और कपटी दोस्ती बनी हुई जिन्दगी को मिटा देती है। आजकल सच्ची दोस्ती होना बड़ा मुश्किल हो गया है। सच्चे दोस्त बड़ी मुश्किल और बहुत देर से… Read More

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कविता : सिसकते किताबों के पन्ने

किसी किताबख़ाने में जाओगे आप कभी, तो हर क़िताब को अच्छे से झांककर देख लेना, हा, सिर्फ मेरी ही नही होगी हर किताब मौजूद किताबो में, पर बिल्कुल किसीने मेरी तरह मोड़ के रखे होंगे किताबो के पन्ने, जैसे कोई… Read More

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व्यंग्य : पबजी–लव जी

कारगिल युध्द के बाद भारत के अनमोल रत्न सचिन तेंदुलकर ने कहा था कि… “जब देश की सीमा पर हमारे जवान पाकिस्तान से युद्ध लड़ रहे हों तो, ऐसे समय में पाकिस्तान से क्रिकेट खेलने का कोई मतलब नहीं है”।… Read More

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कविता : आदित्य, आदित्य ओर चला

धरती से उड़कर आदित्य, उस आदित्य ओर चला। बदल-बदल कर वह कक्षाएँ, एक बार फिर वो सम्भला। इसरो की आशाएँ उस पर। भारत-विश्व स्वाभिमान है। *अजस्र* भास्कर देख नजारा, विस्मय स्वर उससे निकला। कदम-कदम आगे ही बढ़ता, ‘आदित्य’, ‘आदित्य’ का… Read More

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कविता : संकल्प

हर एक अंत से ही नई शुरुआत होती है। भूलाकर गिले शिकवो को नई शुरुआत करते हैं। लोग तो आते हैं जाते हैं… पर उनके काम याद आते है। शायद इसकी को दुनियांदारी दुनियां वाले कहते है।। दिल व्याकुल हो… Read More

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कविता : गली गली में घूमते

गली-गली में घूमते… शराफ़त का मुखौटा लगाए कभी सहायक बनकर कभी खास बनकर। उठाते मजबूरी का फायदा नौकरी, धन और प्रेम का झांसा देकर। नजरों में कच्चा खा जाने की प्यास मन में हवस का अरमान लिए करते हैं रतिभरा… Read More

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गोवर्धन पूजा की हार्दिक शुभकामनाएं।

लोगों की रक्षा करने, एक अंगुली पर पहाड़ उठाया, उसी कन्हैया की याद दिलाने, गोवर्धन पूजा का पावन दिन आया। गोवर्धन पूजा की हार्दिक शुभकामनाएं। 00

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दिवाली की हार्दिक शुभकामनाएं

दिवाली की हार्दिक शुभकामनाएं। दीप जगमगाते रहें, सबके घर झिलमिलाते रहें, साथ हों सब अपने, सब यूं ही मुस्कुराते रहें। 00

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कविता : धनतेरस

चाहत तो रखते है धन की सभी । पर उपयोग उस धन वो करते नहीं। धन आने पर बंद, तिजोरी में करते है। पर लक्ष्मीजी तो चंचल होती है। तो लोग उसे कैद कैसे कर सकते हो।। धन और विद्या… Read More