“रिमझिम के तराने लेकर आई बरसात” अगर कोई मुझसे पूछे कि तुम्हें कौन-सा मौसम सुहावना लगता है, तो मैं बिना समय गवाएं कह सकता हूँ कि मुझे तो सिर्फ़ बरसात का मौसम सुहाना लगता है। यह वह समय होता है… Read More
लेख : फ़िल्मों में राखी धागों का त्योहार
हमारा देश धर्मप्राण देश रहा है। आध्यात्मिक ऊर्जा यहां के कण-कण में समाविष्ट है। यहां के व्रत-नियमों का सम्बन्ध अध्यात्मदर्शन, देवदर्शन और निरामयता से जुड़ा हुआ है। इसलिए हमारे व्रत-उपवासों की सुदीर्घ परम्परा सदा से चली आयी है। वर्ष में… Read More
लेख : हिंदी सिनेमा में हिंदी भाषा का बदलता स्वरुप
सिनेमा भाषा के प्रचार-प्रसार का एक बहुत ही अच्छा माध्यम है। सिनेमा में हर तरह की हिंदी के लिए जगह है। फिल्म में पात्रों की भूमिका व परिस्थतियों को देखकर ही भाषा का प्रयोग किया जाता है। जिससे प्रारंभिक दौर… Read More
हिंदी सिनेमा और साहित्य में संवेदना का संकट
“अब जब तुम देखोगे चेहरा अपना पहचान जैसा सब कुछ, कुछ नहीं होगा कहीं भी, बदली-बदली है विश्व संरचना इन दिनों” बदलती हुई इस विश्व संरचना के दौर में जहाँ दुनियाँ तेजी से बदल रही है। वहीं उसके भीतर की… Read More
मेरी आवाज़ ही मेरी पहचान है : सुर साम्राज्ञी भारतरत्न लता मंगेशकर
सुर साम्राज्ञी, स्वर कोकिला भारतरत्न लता मंगेशकर हमारे बीच सदा युगों-युगों तक अपने गीतों के माध्यम से उपस्थित रहेंगी। संगीत का मतलब लता मंगेशकर कहें तो कोई अतिश्योक्ति नहीं होगी। या यूँ कहें कि संगीत का जब भी नाम लिया… Read More
रहें ना रहें हम महका करेंगे : स्वर कोकिला भारतरत्न लता मंगेशकर
भारतीय सिनेमा और संगीत की दुनिया की सुर साम्राज्ञी, स्वर कोकिला भारतरत्न लता मंगेशकर जी आज हमारे बीच नहीं रहीं। मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल में उन्होंने अंतिम साँसे ली। बीते कुछ दिनों से उनका अस्पताल में कोरोना का इलाज… Read More
नशे की पहली ख़ुराक : इलायची की आड़ में गुटखे का विज्ञापन
फिल्मों के बाद अभिनेताओं और अभिनेत्रियों ने जिस तरीके से सपनों की दुनिया दिखलाने के साथ-साथ इंसानी रिश्तों, जज़बातों और उसके भावनाओं को सबसे ज्यादा कैश कराने का काम किया है, उसमें विज्ञापनों की एक बहुत बड़ी दुनिया है। जो… Read More
मशहूर शायर व गीतकार राहत इंदौरी को अंतिम सलाम
साइनबोर्ड पेंटर से टॉप सांग राइटर तक राहत इंदौरी कोई व्यक्ति अपनी मेहनत, प्रतिभा और हौसले से अपनी हैसियत कैसे बदल सकता है उसका एक बेहतरीन उदाहरण गीतकार डॉ. राहत इंदौरी हैं। वे एक साइनबोर्ड पेंटर से कॉलेज के अध्यापक… Read More
जन्मदिन पर विशेष : हिंदी सिनेमा की संवेदशील अभिनेत्री “काजोल”
आज अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत की मौत के बाद से बॉलीवुड में नेपोटिज्म मीडिया में सबसे अधिक चर्चित विषय चल रहा है। खासकर टीवी चैनलों में तो ये मुद्दा खूब छाया रहा है। आज बॉलीवुड की एक काबिल अभिनेत्री काजोल… Read More
जयंती पर विशेष : उर्दू के शायर और साहित्यकार शकील बदायूँनी
हिंदी सिनेमा की सबसे बड़ी हिट और क्लासिक फिल्मों में शुमार मुगल ए आजम का मशहूर गीत जब प्यार किया तो डरना क्या जिस शायर ने लिखा है वो जनाब शकील बदायूँनी थे। शकील ऐसे शब्द चुनते थे सीधे दिल… Read More