अगर है प्यार मुझसे तो बताना भी ज़रूरी है दिया है हुस्न मौला ने दिखाना भी ज़रूरी है इशारा तो करो मुझको कभी अपनी निगाहों से अगर है इश्क़ मुझसे तो जताना भी ज़रूरी है अगर कर ले सभी ये… Read More

अगर है प्यार मुझसे तो बताना भी ज़रूरी है दिया है हुस्न मौला ने दिखाना भी ज़रूरी है इशारा तो करो मुझको कभी अपनी निगाहों से अगर है इश्क़ मुझसे तो जताना भी ज़रूरी है अगर कर ले सभी ये… Read More
किसी की रूह को इतना भी, चूर मत करिये इंसान हो कर भी हैवां सा, कसूर मत करिये अच्छा हो अपने कद का भी, अंदाज़ कर लो, देख अपना ही लम्बा साया, गुरूर मत करिये यारा समझ कर कि, अब… Read More
दूर मुझसे न जा, वरना मर जाऊँगा। धीरे-धीरे सही, मैं सुधर जाऊँगा।। बाद मरने के भी, मैं रहूंगा तेरा। चर्चा होगी यही, जिस डगर जाऊँगा।। मेरा दिल आईना है, न तोड़ो इसे। गर ये टूटा तो फिर, मैं बिखर जाऊँगा।।… Read More
वतन का खाकर जवाँ हुए हैं वतन की खातिर कटेगी गर्दन। है कर्ज हम पर वतन का जितना अदा करेंगे लुटा के जाँ तन।। हर एक क़तरा निचोड़ डालो बदल दो रंगत वतन की यारो। जहाँ गिरेगा लहू हमारा वहीं … Read More
मेरा गम तो छुपा है आंखो में एक तू ही तो है निगाहों में।। अब मेरा इम्तिहान मत लेना जिसके ख्वाबों से दूर रहती हूं, दरअसल वो ही ख़्वाब है तु मेरा।। देख क्या इंतखाब है मेरा लब पे मैने… Read More
कभी ख्वाहिशों ने, फंसाया ज़िन्दगी को ! तो कभी ज़रूरतों ने, रुलाया ज़िंदगी को ! कभी राह में गैरों ने बिछाए कांटे दोस्तो, तो कभी अपनों ने, छकाया ज़िन्दगी को ! कभी ख्वाबों में खुश हो लिए हम यूं ही,… Read More
मेरी आरज़ू रही आरज़ू, युँ ही उम्र सारी गुज़र गई। मैं कहाँ-कहाँ न गया मगर, मेरी हर दुआ भी सिफ़र गई।। की तमाम कोशिशें उम्र भर, न बदल सका मैं नसीब को। गया मैं जिधर मेरे साथ ही, मेरी बेबसी… Read More
फिर वही क़िस्सा सुनाना तो चाहिए फिर वही सपना सजाना तो चाहिए यूँ मशक़्क़त इश्क़ में करनी चाहिए जाम नज़रों से पिलाना तो चाहिए अब ख़ता करने जहाँ जाना चाहिए अब पता उसका बताना तो चाहिए दिल जगाकर नींद में… Read More
मौत आई नहीं फिर भी मारा गया। खेलने जब जुआ ये नकारा गया।। हार कर भी कभी होश आया नहीं। कर्ज लेकर हमेशा दुबारा गया।। जिसको आदत जुआ की बुरी पड़ गई। समझो गर्दिश में उसका सितारा गया।। अब बचा… Read More
छन-छन के हुस्न उनका यूँ निकले नक़ाब से। जैसे निकल रही हो किरण माहताब से।। पानी में पाँव रखते ही ऐसा धुआँ उठा। दरिया में आग लग गई उनके शबाब से।। जल में ही जल के मछलियाँ तड़पें इधर-उधर। फिर… Read More