नागरी प्रचारिणी सभा, देवरिया द्वारा दिनांक 8 अगस्त 2024 को तुलसी जयंती के उपलक्ष्य में तुलसी साहित्य पर आधृत प्रतियोगिता हुई। जिसमें बी.आर.डी. पीजी कॉलेज, संत विनोबा पीजी कालेज, महाराजा अग्रसेन इन्टर कालेज, महाराजा बालिका इंटर कालेज, एस एस बी एल इंटर कालेज, युग निर्माण सीनियर सेकेंडरी स्कूल, सरस्वती विद्या मंदिर देवरिया खास, सनवीम स्कूल सोन्दा, सेन्ट्रल एकेडमी, जवाहर नवोदय विद्यालय आदि के छात्र छात्राओं ने प्रतिभाग किया।
यह प्रतियोगिता तीन स्तर पर आयोजित हुई थी-स्नातक, माध्यमिक एवं जूनियर। स्नातक वर्ग की प्रतियोगिता में डॉ. दिवाकर प्रसाद तिवारी, डॉ. शकुंतला दीक्षित और आचार्य प्रमोद मणि त्रिपाठी ने निर्णायक का कार्य किया। माध्यमिक वर्ग की प्रतियोगिता में डॉ. राजेश मिश्र, डॉ. सुधांशु शुक्ल एवं श्रीमती दुर्गा पाण्डेय ने निर्णायक की भूमिका निभायी। इसी तरह जूनियर वर्ग की प्रतियोगिता में डॉ. सिंहासन पाण्डे, श्रीमती पार्वती देवी एवं आचार्य प्रमोद मणि त्रिपाठी ने निर्णय का कार्य किया। सम्पूर्ण प्रतियोगिता का संचालन डॉ. अभय कुमार द्विवेदी ने किया।
इस आयोजन में सभा के मंत्री डॉ. अनिल कुमार त्रिपाठी, संयोजक दिनेश कुमार त्रिपाठी, रमेश चन्द्र त्रिपाठी, इन्द्र कुमार दीक्षित, श्वेतांक करन त्रिपाठी, डॉ. सौरभ श्रीवास्तव, रजनीश गोरे, सोमनाथ मिश्र, ब्रजेन्द्र मिश्र आदि की महत्वपूर्ण भूमिका रही। स्नातक वर्ग के निबंध प्रतियोगिता में कु. अंकिता तिवारी ने प्रथम, चन्दन कुशवाहा द्वितीय और निकिता गुप्ता ने तृतीय स्थान प्राप्त किया। स्नातक वर्ग के भाषण प्रतियोगिता में निकिता गुप्ता ने प्रथम, चन्दन कुशवाहा द्वितीय तथा अंशु चतुर्वेदी ने तृतीय स्थान प्राप्त किया। माध्यमिक वर्ग की निबंध प्रतियोगिता में स्तुति मिश्रा प्रथम, स्तुति श्री प्रजापति द्वितीय और आस्था वर्मा व वैष्णवी वर्मा ने तृतीय स्थान प्राप्त किया।
माध्यमिक वर्ग के भाषण प्रतियोगिता में मांगलिक मिश्रा प्रथम, देवांशी तिवारी व मोनिका तिवारी द्वितीय तथा राधारमण मिश्र ने तृतीय स्थान प्राप्त किया। जूनियर वर्ग के सुपठन प्रतियोगिता में हरिओम जायसवाल प्रथम, अथर्व मिश्र द्वितीय तथा आदित्य श्रीवास्तव ने तृतीय स्थान प्राप्त किया। इसके अतिरिक्त लगभग पन्द्रह बच्चों को सांत्वाना पुरस्कार देने का निर्णय निर्णायक मंडल ने किया है। इन बच्चों को 11 अगस्त को तुलसी जयंती के समापन समारोह में मुख्य अतिथि श्री शलभ मणि त्रिपाठी, मुख्य वक्ता कवि एवं साहित्यकार श्री अष्टभुजा शुक्ल के द्वारा प्रमाण पत्र एवं पुस्तक प्रदान किया जाएगा।