हम  कहीं  ना  जाइब  अब
ना  केवनो  परदेस
ना  केवनो  विदेश
ना  बाहर  कमाये !
अब  हम
माईये-बाबू  के  साथे  रहब
भाईये-बहिनिये  संगे  खेती में  खटब !
जेवन  मोर माई -बाबू,  भईयवा-बहिनिया
खईंहें-पीहें
ऊहे  खाइब
ऊहे  पीयब
पनडूक आ फुरगुदिया चिरईन  संगे
खेलब-कुद्दब
येही  रे  धूर-माटी  पर

नाचब-गाइब

बाकिर,
वइसन  अन्हार  के  माहुर  भरल  दुनिया में
नाहिं  जा  के  मरब !!
अब  माईये – बाबू  संगे  जीयब  आ  मरब !!!!!!!!!!!!!!

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